अब तुम देहरादून में मेरी नजरों से नहीं बच पाओगे-आप भी पढ़िए पूरी खबर

अगर आपने अपना वाहन गलत जगह पार्क किया ,ओवर स्पीड से अपना वाहन चला रहे है, रेड लाइट जम्प कर रहे है या फिर गलत दिशा में अपना वाहन चलाते है तो आपको सावधान होना पड़ेगा, क्योंकि अब अगर आप इस तरह की गलती करते है तो स्मार्ट सिटी की तीसरी आंख से आपके पास यातायात के नियम का उल्लंघन का चालान आपके मोबाइल पर आ जायेगा। साथ ही अब अगर आपका चालान होता है तो मौके पर किसी यातायात पुलिसकर्मी को आप किसी तरह की धौंस भी नहीं दिखा सकेंगे। यही नही इसके अलावा देहरादून पुलिस को अपराध नियंत्रण में भी कैमरे काफी मददगार साबित होने वाले है।

देहरादून स्मार्ट सिटी लिमिटेड की ओर से IT पार्क स्थित ITDA में देहरादून इंटीग्रेटेड कमांड एंड कंट्रोल सेंटर ‘सदैव दून’ प्रोजेक्ट की शुरुआत की है। परियोजना के तहत राजधानी दून में 200 स्थानों पर 500 CCTV कैमरे लगाए जा रहे हैं। जिसमें पुलिस के लिए 278 कैमरे मददगार साबित होंगे जो काफी हाई डेफिनेशन होंगे यह कैमरे वाहनों की नंबर प्लेट को ऑटोमेटिक ट्रेस कर लेंगे और किस व्यक्ति की गाड़ी है यह भी पता चल सकेंगे। SSP योगेंद्र सिंह रावत ने बताया कि स्मार्ट सिटी के तहत जो कैमरे लगाए जा रहे है यह काफी फ़ायदेमंद साबित होने वाले है, इन कैमरों के काफी उद्देश्य है। इस प्रोजेक्ट से पुलिस सहित कई विभागों के सिस्टम जोड़े गए है, ताकि आम जनता को सुविधा एक जगह से मिल सकेगी। जहा तक पुलिस का संबंध है इन कैमरों से दो प्रकार से मदद मिलेगी। इन कैमरों से अपराध को नियंत्रण किया जा सकेगा और यातायात के लिए भी कैमरे काफी मददगार साबित होने वाले है।

दो दशकों में यातायात में बहुत तेजी से वृद्धि हुई है। ऐसे में समय के अनुसार आधुनिक तकनीकों का प्रयोग बहुत जरूरी हो गया है। जिसके चलते राजधानी की यातायात व्यवस्था को दुरुस्त करने के साथ ही अन्य व्यवस्थाएं दुरुस्त की जाएंगी। इसके परियोजना के तहत 49 ट्रैफिक सिग्नल, 133 एएनपीआर कैमरा, 58 रेड लाइट वायलेशन डिटेक्शन, 38 इमरजेंसी कॉल बॉक्स जैसी आधुनिक तकनीक के जरिये निगरानी रखी जाएगी। ‘सदैव दून’ प्रोजेक्ट से राजधानी में यातायात की समस्या से निपटने के साथ ही आपदा प्रबंधन में भी समय पूर्व तमाम जानकारियां हासिल होंगी। स्वचालित नंबर प्लेट के जरिये यातायात नियमों का उल्लंघन करने वालों के वाहनों की आवाजाही पर भी निगरानी की जा सकेगी। SSP की माने तो सिस्टम के लगने से जो कई बार चालन कटने पर अपने पद व प्रभावशाली होने की बात करते है, वो समस्या खत्म हो जायेगी और आम लोगों को सुव्यवस्थित ट्रैफिक मिल पायेगा। अब बस देखना यह होगा की शहर मे स्मार्ट सिंटी कब तैयार होती है और कैमरे कब तक शहर मे लग पाते है।