प्रसूता की मौत पर लापवाही का आरोप।
चंपावत जिला अस्पताल में प्रसूता की मौत के बाद है ग्रामीणों ने किया प्रदर्शनजिला अस्पताल पर लगाए गंभीर आरोप, दोषियों को सजा देने की उठाई मांग।
चम्पावत ज़िला अस्पताल में ऑपरेशन के दौरान परिजनों ने लगाए गंभीर आरोप।
29 जुलाई को प्रसूता ने बरेली भोजीपुरा में थोड़ा दम।
रिपोर्ट- दिनेश भट्ट, चम्पावत
चंपावत जिला अस्पताल में 19 जुलाई को ऑपरेशन से बच्चे को जन्म देने वाली प्रसूता की 29 जुलाई को बरेली में इलाज के दौरान मौत हो गयी। जिसके बाद परिजनों ने सोमवार को जिला अस्पताल में गंभीर आरोप लगाते हुए प्रदर्शन किया। चंपावत जिला अस्पताल में 19 जुलाई को ऑपरेशन से शिशु को जन्म देने के बाद प्रसूता की जिंदगी बचाने के लिए परिजनों ने काफी मशक्कत की जिसके बाद भी वह उसकी जान नहीं बचा सके। नवजात को जन्म देने के 11 दिन बाद प्रसूता की मौत हो गई। परिजनों ने चंपावत जिला अस्पताल पर इलाज में लापरवाही का आरोप लगाया है।सोमवार को विरोध प्रदर्शन कर दोषियों को सजा देने की मांग उठाई है।
जानकारी के अनुसार चंपावत जिले के बाजरी कोट की संध्या उम्र 24 वर्ष पत्नी दीपक ने 19 जुलाई को जिला अस्पताल में ऑपरेशन से शिशु को जन्म दिया था । 21 जुलाई को जच्चा बच्चा दोनों को अस्पताल से छुट्टी दे दी गई । जिसके बाद 23 जुलाई को फिर तबीयत बिगड़नी शुरू हो गई। जिसके बाद परिजन 27 जुलाई को जिला अस्पताल में भर्ती करने के लिए लाए। जिसके बाद 28 जुलाई को यहां से हल्द्वानी सुशीला तिवारी के लिए रेफर कर दिया गया। जिसके बाद परिजनों द्वारा वहां भी राहत न मिलने पर बरेली के भोजीपुरा अस्पताल के लिए ले जाया गया। जहां उसने 29 जुलाई को दम तोड़ दिया। जिसके बाद सोमवार को परिजनों ने चंपावत जिला अस्पताल पर गंभीर आरोप लगाते हुए प्रदर्शन किया। और शीघ्र दोषियों को सजा देने की मांग उठाई है। परिजनों का आरोप है कि जिला अस्पताल में ऑपरेशन के दौरान गलत तरीके से से ऑपरेशन किया गया था। जिसके चलते महिला की मौत हुई है। साथ ही बृजनों का कहना है कि उसके बाद भी डॉक्टरों द्वारा यह बात छुपाई गई।